posted on : जून 3, 2021 4:43 अपराह्न
उत्तरकाशी (कीर्तिनिधी सजवाण): जिला अधिकारी मयूर दीक्षित ने कहा की आपदा के दृष्टिगत जनपद अति संवेदनशील है आगामी मानसून काल जिले में संभावित अतिवृष्टि, बाढ़ ,ऐसी आपदा घटनाओं को रोकने के लिए और राहत बचाव कार्य किये जाने को लेकर में पूर्वाभ्यास किया जिसके तहत चिन्हित स्थानों पर तैयारी को परखा जो सफल रहा । जनपद में आज भारी बारिश के कारण गंगोत्री राष्ट्रीय राजमार्ग रतूड़ी सेरा के पास प्रातः 08:30 बजे भूस्खलन होने से बंद रहा। वहीं यमुनोत्री राष्ट्रीय राजमार्ग किसाला व ओजरी में भी भूस्खलन होने से बंद रहा। सूचना मिलते ही आपदा कंट्रोल रूम द्वारा बीआरओ,एनएच,वन, पूर्ति आदि विभाग को उक्त के बारे में अवगत कराया गया। गंगोत्री राष्ट्रीय राजमार्ग पर 29 वाहन फसे हुए थे जिन्हें सुरक्षित जगह में रुकवाया गया वाहनों में 82 यात्री रहे जिसमें 11 बच्चे भी शामिल थे । सभी को नजदीकी आपदा राहत केम्प प्राथमिक विद्यालय अठाली में ठहराया गया। सड़क मार्ग को खोलने के लिए बीआरओ द्वारा तेज गति से कार्य किया गया 11 बजकर 15 मिनट पर गंगोत्री राष्ट्रीय राजमार्ग का आवागमन के लिए सुचारू कर दिया गया।
उधर यमुनोत्री राष्ट्रीय राजमार्ग स्थान किसाला के पास पूर्वाह्न 11 बजे भारी मलबा/भूस्खलन होने के कारण मार्ग बाधित रहा। दोनों तरफ करीब 100 छोटे-बड़े वाहन फसे थे जिन्हें सुरक्षित स्थानों पर रुकवाया गया। वाहनों में 250 यात्री थे जिसमें 20 बच्चे भी शामिल थे सभी को नजदीकी राहत कैंप जीआईसी खरादी में ठहराया गया। वहीं किसाला में दोपहर 1 बजे सड़क मार्ग को यातायात के लिए सुचारू किया गया। यमुनोत्री राष्ट्रीय राजमार्ग स्थान ओजरी के पास भी अपराह्न करीब 1 बजे भूस्खलन से मार्ग बाधित रहा। जहां सड़क के दोनों ओर 30 वाहन फसे थे जिन्हें सुरक्षित स्थानों पर रुकवाया गया। वाहनों में 50 यात्री थे जिसमें 11 बच्चे भी शामिल थे सभी को नजदीकी अस्थाई राहत कैंप जीजीआईसी स्याना चट्टी में सुरक्षित ठहराया गया। ओजरी में यमुनोत्री राष्ट्रीय राजमार्ग को 2 बजकर 39 मिनट पर यातायात के लिए सुचारू किया गया।भूस्खलन से मार्ग अवरुद्ध हुआ कोई जन एवं पशु हानि नही हुई है।
भूस्खलन प्रभावित तीनों क्षेत्र में कोरोना संक्रमण को देखते हुए मेडिकल टीम द्वारा सभी का स्वास्थ्य परीक्षण किया गया। खाद्य एवं नागरिक आपूर्ति विभाग द्वारा सभी के लिये खाने पीने की व्यवस्था के साथ ही बच्चों के लिए दूध इत्यादि के इंतजाम किया गया। विद्युत व पेयजल लाइन क्षतिग्रस्त हुई जिसे सुचारू किया गया घबराए नहीं यह आपदा की पूर्व तैयारियों को लेकर मॉक अभ्यास किया गया है। रतूड़ी सेरा में उप जिलाधिकारी डुंडा आकाश जोशी व बड़कोट में उप जिलाधिकारी चतर सिंह चौहान की अगुवाई में मॉक अभ्यास किया गया गया। इस हेतु इंसिडेंट कमांडर की जिम्मेदारी सम्बंधित एसडीएम को सौंपी गई थी।मॉक अभ्यास में सड़क महकमें के साथ ही,स्वास्थ्य, पूर्ति विभाग, जल संस्थान, विद्युत, पशुपालन, राजस्व, पुलिस,एसडीआरएफ, आपदा, वन,आदि विभाग शामिल रहे।



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