गढ़वाल : उत्तराखंड चारधाम देवस्थानम प्रबंधन बोर्ड के मुख्य कार्यकारी अधिकारी / गढ़वाल आयुक्त रविनाथ रमन ने आज स्थानीय श्रद्धालुओं को जनपद में अवस्थित धामो में दर्शनार्थ हेतु 30 जून 2020 तक के लिए कोविड़ 19 के दृष्टिगत मानक के अनुसार दर्शन हेतु जिला/ स्थानीय प्रशासन को अनुमति देने के लिए आदेश जारी किया है।
मुख्य सचिव/मुख्य कार्यकारी अधिकारी, उत्तराखंड राज्य आपदा प्रबन्धन प्राधिकरण, उत्तराखण्ड, देहरादून के आदेश पत्रांक के क्रम में धार्मिक स्थलों/पूजा स्थलों के सम्बन्ध में चारधाम यात्रा प्रारम्भ करने एवं जन स्वास्थ्य के हित में आवश्यक प्रतिबन्ध एवं कार्यवाही करने हेतु चारधाम देवस्थानम् बोर्ड को निर्देशित किया गया था। जिसके अनुपालन में जनपद चमोली, उत्तरकाशी एवं रूद्रप्रयाग के जिला प्रशासन को श्री गंगोत्री, यमुनोत्री, केदारनाथ एवं बद्रीनाथ धाम मे चार धाम यात्रा प्रारम्भ करने के सम्बन्ध में हक-हकूकधारियों, स्थानीय निकाय, होटल/टैक्सी यूनियन के प्रतिनिधियों, स्थानीय विधायकगण तथा अन्य जनप्रतिनिधियों के साथ वार्ता कर अपनी आख्या उपलब्ध कराये जाने के हेतु निर्देशित किया गया था।
इस सम्बन्ध में उत्तराखंड चारधाम देवस्थानम प्रबन्धन बोर्ड को जिलाधिकारी उत्तरकाशी, रुद्रप्रयाग तथा जिलाधिकारी, चमोली द्वारा आख्या प्राप्त हुई है। जिलाधिकारी, रुद्रप्रयाग/उत्तरकाशी/चमोली द्वारा अपने जनपद में स्थित धामो में आमजन/हक-हकूक धारियों से विचार विमर्श कर यह सुनिश्चित किया गया है कि वर्तमान में कोविड-19 महामारी की परिस्थितियों के दृष्टिगत चारधाम यात्रा को वर्तमान में 30 जून,2020 तक स्थगित किया जाना आम जनमानस के हित में उचित होगा अधिकांश हक-हकूकधारियों ने यह भी सहमति दी कि स्थानीय स्तर पर स्थानीय नागरिकों को सभी आवश्यक सावधानियों का पालन करते हुए अत्यन्त सीमित संख्या में ही मंदिरो में मात्र भगवान के दर्शन किये जाने में आपत्ति नहीं है तथा जिन होटल/गेस्ट हॉउस स्वामियों तथा अन्य व्यक्तियों/संस्थाओं यथा-गढ़वाल मण्डल विकास निगम तथा देवस्थानम बोर्ड आदि की परिसम्पत्तियां धाम नगरी में अवस्थित हों, में आवश्यक मरम्मत तथा रखरखाव किये जाने हेतु भी सीमित संख्या में व्यक्तियों को अनुमति दिये जाने में कोई अपत्ति नहीं है।
उपरोक्त के दृष्टिगत चूंकि मुख्य सचिव, उत्तराखण्ड शासन के उपरोक्त वर्णित देश में राज्य के बाहर स्थित व्यक्तियों हेतु धार्मिक स्थलों में जाने की अनुमति वर्तमान में नहीं है, इसी के क्रम में यह निर्णय लिया गया, कि दिनांक 30-06-2020 तक श्री बद्रीनाथ धाम में अधिकतम 1200, श्री केदारनाथ धाम में अधिकतम 800, श्री गंगोत्री धाम में अधिकतम 600 एमं श्री यमुनोत्री धाम में अधिकतम 400 दैनिक। संख्या की सीमा तक अपने-अपने जनपद अंतर्गत जिला/स्थानीय प्रशासन स्थानीय श्रद्धालुओं को अपने जनपद में स्थित धामों में दर्शनार्थ जाने की अनुमति प्रदान कर सकेगें साथ ही जिन संस्थाओं/व्यक्तियों की होटल गेस्ट हॉउस आदि परिसत्तियां धाम क्षेत्र में अवस्थित हैं उन्हें अत्यंत आवश्यक संख्या में ही अपनी परिसम्पत्तियों तक जाने की अनुमति प्रदान करेगें, मंदिर मे प्रवेश करने एवं दर्शन करने हेतु मानक प्रचालन विधि (एस.पी.) आदेश जारी किया गया जो कि यह व्यवस्था अग्रिम आदेश (30 जून 2020 ) तक लागू रहेंगी।
चार धाम मंदिरों कुछ गाइडलाइन बनाई गई हैं गाइडलाइन के अनुसार ही भगवान श्री केदारनाथ देवस्थानम् दर्शन का समय प्रातः: 7:00 से सायं 7:00 तक रहेगा। श्री धाम में पधारने वाले समस्त श्रद्धालुगण/तीर्थ यात्रीगण को अपने स्वयं के स्तर से किये गये स्थगन स्थानों में ही स्थगन करना होगा। तीर्थ यात्रा गणों को दर्शन हेतु निःशुल्क टोकन प्राप्त करने होंगे, जिन्हें देवस्थानम् बोर्ड द्वारा निःशुल्क उपलब्ध कराया जायेगा। निःशुल्क दर्शन टोकन प्राप्ति हेतु निर्धारित स्थान में स्थापित काउण्टर से प्राप्त करना होगा। दर्शन टोकन श्रद्धालुओं/ तीर्थयात्रियों को दर्शन से पूर्व में ही प्राप्त करना अनिवार्य होगा। निःशुल्क दर्शन टोकन काउण्टर में शारिरिक दूरी बनाए रखना एवं मास्क लगाना अनिवार्य होगा। निःशुल्क दर्शन टोकन में दर्शन हेतु निश्चित समय एवं तिथि अंकित होगी (उदाहरणतः यदि दर्शन टोकन में 10 बजे का समय अंकित किया गया है तो यात्रीगण 10:59 मिनट तक भी दर्शन पंक्ति में पंक्तिबद्ध हो सकता है) तीर्थयात्रियों/श्रद्धालुओं को दर्शन टोकन में अंकित समय पर दर्शन लाईन में दर्शन हेतु मन्दिर परिसर में निर्धारित लाईन में पंक्तिबद्ध होना पड़ेगा। 1 घण्टे में 80 दर्शनार्थी का दर्शन का पुण्य लाभ अनुमन्य होगा। (अधिकतम ) > दर्शन हेतु मन्दिर के अन्दर 1 मिनट का समय अनुमन्य होगा। दर्शन पंक्ति मन्दिर परिसर में 120 मीटर की होगी, जिस पर 2-2 मीटर की दूरी पर बनाये गये चिन्हित गोले पर यात्रियों को एकल पंक्तिबद्ध खड़ा होना होगा। विशेष पूजा में सम्पादित करने वाले यात्रियों को सामाजिक दूरी के दृष्टिगत पूजायें कराने हेतु बाध्यता होगी।
श्री बदरीनाथ धाम में उक्त प्रक्रिया तहत प्रतिदिन 800 श्रद्धालुओं को निःशुल्क टोकन आवंटित किये जायेंगे, जो तदनुसार सभी शासन प्रशासन के दिशा-निर्देशों का पालन करते हुये दर्शन का पुण्य लाभ प्राप्त कर पायेंगे। निःशुल्क टोकन 1 व्यक्ति को एक समय में 3 से अधिक टोकन आंवटित नहीं किये जायेंगे। टोकन की जांच मुख्य द्वार में की जायेगी।
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