बदरीनाथ (चमोली)। चमोली जिले में सीमा सड़क संगठन की ओर से भारत की तिब्बत से लगी सीमाओं को जोड़ने वाली सड़कों को सुचारु करने का कार्य युद्ध स्तर पर किया जा रहा है। यहां बीआरओ की ओर से मशीनों की मदद सीमा सड़कों सुचारु किया जा रहा है।
नीती और माणा घाटी की अंतर्राष्ट्रीय सीमा जहां आईटीबीपी के साथ ही भारतीय सेना के जवान सीमाओं की निगेहबानी करते हैं। ऐसे में इन क्षेत्रों को जोड़ने वाली सड़कें सामरिक दृष्टि से अति महत्वपूर्ण है। इस वर्ष शीतकाल में हुई बर्फवारी और अभी मौसम के सामान्य न होने और लॉकडाउन के चलते मजदूरों की कमी भी बीआरओ के लिये चुनौती पूर्ण बना हुआ है। हालांकि बीआरओ की ओर से विषम परिस्थितियों के बावजूद नीती घाटी में नीती गांव और रिमखिम सीमा चैकी तक सीमा सड़कों को सुचारु कर दिया है।
वहीं बदरीनाथ-माणा पास सड़क को बदरीनाथ से नौ किलोमीटर सीमा की ओर से मूसा पानी तक 25 से 30 फीट ग्लेशियरों के गलियारे बनाकर सुचारु कर लिया गया है। वहीं शेष 40 किमी सड़क को सुचारु करने के लिये बीआरओ की ओर से सामाजिक दूरी का ध्यान रखते हुए मशीनों की मदद से ग्लेशियरों को हटाने के कार्य युद्ध स्तर पर किया जा रहा है।
क्या कहते है बीआरओ के अधिकारी
चमोली जिले की अंतर्राष्ट्रीय सीमाओं को जोड़ने वाली नीती घाटी की सड़कों को सीमा क्षेत्रों तक सुचारु कर लिया गया है। लेकिन बदरीनाथ धाम में बार-बार बदल रहे मौसम के चलते सीमावर्ती सड़क को मूसा पानी तक सुचारु कर लिया गया है। सामाजिक दूरी को देखते हुए यहां महज मशीनों की मदद से बर्फ हटाई जा रही है। जिससे समय अधिक लग रहा है, यदि आगामी दिनों में मौसम साथ देता है तो जल्द ही माणा पास तक सडक सुचारु कर ली जाएगी।
कर्नल मनीष कपिल, कमांडर, बीआरओ, जोशीमठ।
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